मुंबई: अमेरिका को भारत के निर्यात में 5.76 अरब डॉलर की गिरावट आने की संभावना है। भारत द्वारा अमेरिका को किए जाने वाले निर्यात में मुख्य रूप से सोना, विद्युत और इलेक्ट्रॉनिक उपकरण आदि शामिल हैं। ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव (जीटीआरआई) की एक रिपोर्ट के अनुसार, कुछ उत्पादों में भारत की प्रतिस्पर्धात्मकता कुछ नुकसान की भरपाई कर सकती है।
कुछ भारतीय उत्पाद जैसे रेडीमेड वस्त्र, फार्मास्यूटिकल्स, सिरेमिक उत्पाद, रसायन को मध्यम लाभ होने की संभावना है। ट्रंप ने 9 अप्रैल से भारत से आयातित वस्तुओं पर 26 प्रतिशत का अतिरिक्त शुल्क लगा दिया है। हालांकि, फार्मा, ऊर्जा और सेमीकंडक्टर जैसी कुछ वस्तुओं को फिलहाल इससे बाहर रखा गया है।
जीटीआरआई के बयान में आगे कहा गया है कि उपलब्ध व्यापार आंकड़ों और टैरिफ दरों के विश्लेषण के आधार पर यह कहा जा सकता है कि 2025 में अमेरिका को भारत का निर्यात 6.40 प्रतिशत या 5.76 डॉलर तक कम हो सकता है। 2024 में अमेरिका को भारत का निर्यात 89.81 बिलियन डॉलर होगा। जीटीआरआई ने लोहा एवं इस्पात निर्यात में 18 प्रतिशत, हीरे एवं स्वर्ण उत्पादों के निर्यात में 15.30 प्रतिशत तथा वाहनों एवं कलपुर्जों के निर्यात में 12.10 प्रतिशत की गिरावट का अनुमान लगाया है।
भारत ने 2024 में अमेरिका को 11.90 बिलियन डॉलर मूल्य के सोने के आभूषण, कटे और पॉलिश किए हुए हीरे निर्यात किए। यह भी बताया गया कि इन उत्पादों के भारत के कुल निर्यात का 40 प्रतिशत अमेरिका को गया। वर्तमान में इन उत्पादों पर 2.10 प्रतिशत शुल्क लगाया जाता है।
इसके अलावा रसायन, मशीनरी और प्लास्टिक समेत कुछ उत्पादों के निर्यात में भी गिरावट आएगी। इस विश्लेषण में भारत के प्रतिस्पर्धियों पर लगाए गए टैरिफ दरों को ध्यान में रखा गया है।
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