अगर आप चाहते हैं कि इनकम टैक्स विभाग का नोटिस आपके दरवाजे तक न पहुंचे, तो आपको कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखना बेहद जरूरी है। कई बार हम अनजाने में ऐसी गलतियां कर बैठते हैं, जिनकी वजह से बाद में भारी जुर्माना और कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है। अगर आप पहले से सतर्क रहेंगे और सही तरीके से वित्तीय लेन-देन करेंगे, तो इनकम टैक्स विभाग की नजर से बच सकते हैं। आइए जानते हैं कि किन गलतियों से बचना चाहिए।
इनकम टैक्स विभाग का नोटिस कैसे आता है?इनकम टैक्स विभाग आपकी वित्तीय गतिविधियों पर कड़ी नजर रखता है, खासकर तब जब आपके ट्रांजैक्शन तय सीमा से ज्यादा होते हैं। आज हम आपको 7 ऐसे ट्रांजैक्शंस के बारे में बताएंगे, जिन्हें भूलकर भी क्रेडिट कार्ड से नहीं करना चाहिए। अगर आपने इनमें से कोई गलती की, तो आपको सीधा इनकम टैक्स विभाग का नोटिस मिल सकता है। खासतौर पर अगर आप क्रेडिट कार्ड का इस्तेमाल नियमित रूप से करते हैं, तो यह जानकारी आपके लिए बेहद अहम है।
इनकम टैक्स विभाग की नजर किन पर होती है?अगर आप सालाना 2 लाख रुपए से ज्यादा क्रेडिट कार्ड से खर्च करते हैं, तो इनकम टैक्स विभाग की नजर स्वतः ही आप पर पड़ सकती है। बड़े ट्रांजैक्शन से विभाग को शक हो सकता है कि आपकी आय के स्त्रोत क्या हैं और आप टैक्स सही से भर रहे हैं या नहीं। उदाहरण के लिए, अगर आपने विदेश यात्रा पर 2 लाख रुपए से ज्यादा खर्च किए हैं, तो आपकी यात्रा की जानकारी विभाग के रिकॉर्ड में आ सकती है और जांच भी हो सकती है।
क्रेडिट कार्ड बिल का कैश पेमेंटअगर आपने 1 लाख रुपए या उससे ज्यादा की रकम कैश में क्रेडिट कार्ड बिल का भुगतान किया है, तो इनकम टैक्स विभाग को इसकी जानकारी हो जाती है। विभाग के पास पूरा अधिकार है कि वह ऐसे लेन-देन की जांच कर सके। अगर उन्हें इसमें कोई गड़बड़ी या काले धन का लेनदेन नजर आता है, तो आपके खिलाफ नोटिस जारी किया जा सकता है। साथ ही भारी जुर्माना या दंड भी लगाया जा सकता है।
बड़ी प्रॉपर्टी खरीदने पर भी नजरअगर आपने कोई प्रॉपर्टी खरीदी है जिसकी कीमत 30 लाख रुपए या उससे ज्यादा है, तो इसकी जानकारी सीधे इनकम टैक्स विभाग तक पहुंच जाती है। चाहे आपने प्रॉपर्टी लोन लेकर खरीदी हो या कैश में, विभाग यह जानता है। अगर आपकी फाइल में आय और प्रॉपर्टी खरीद के बीच तालमेल नहीं बैठता, तो विभाग आपके खिलाफ कार्रवाई कर सकता है।
बैंक खाते में बड़ा कैश डिपॉजिटअगर आपने अपने बैंक अकाउंट में एक बार में या बार-बार बड़ी रकम जमा कराई है, तो इनकम टैक्स विभाग की नजर आप पर पड़ सकती है। खासतौर पर तब, जब यह रकम 10 लाख रुपए से ज्यादा हो। इस तरह के ट्रांजैक्शन की जानकारी भी सीधे विभाग को मिलती है और जांच का खतरा बढ़ जाता है।
विदेश यात्रा पर खर्चअगर आप विदेश यात्रा करते हैं और वहां पर कार्ड के जरिए भारी-भरकम खर्च करते हैं, तो भी इनकम टैक्स विभाग अलर्ट हो जाता है। विदेश में किया गया खर्च विभाग के रिकॉर्ड में दिखता है और अगर आपकी घोषित आय इस खर्च से मेल नहीं खाती, तो नोटिस मिलना तय है।
निवेश और शेयर बाजार में भारी निवेशअगर आपने शेयर बाजार, म्यूचुअल फंड या अन्य निवेश माध्यमों में बड़ी रकम लगाई है और उसका हिसाब आपकी टैक्स रिटर्न में नहीं दिखाया है, तो भी परेशानी बढ़ सकती है। निवेश से हुई कमाई पर भी टैक्स देना जरूरी है और अगर आप इसे छिपाते हैं तो विभाग नोटिस भेज सकता है।
अगर आप इन बातों का ध्यान रखेंगे और वित्तीय लेन-देन में पारदर्शिता बनाए रखेंगे, तो इनकम टैक्स विभाग के नोटिस से आसानी से बच सकते हैं। याद रखें, आज की छोटी सी सतर्कता भविष्य में बड़ी मुसीबत से बचा सकती है।
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